घरों में तोड़फोड़, खेतों में फसल चौपट, जिले में विचरण कर रहे हैं दो हाथी, भालूखोदरा में जमाया डेरा
अनूपपुर
छत्तीसगढ़ राज्य से मध्यप्रदेश के अनूपपुर जिले की सीमा में 35 दिन पूर्व प्रवेश कर आए दो नर प्रवासी हाथी जिले के जैतहरी,अनूपपुर तहसील एवं वन परिक्षेत्र की सीमाओं से वन परिक्षेत्र एवं तहसील राजेंद्रग्राम/पुष्पराजगढ़ के ग्रामीण अंचलों में निरंतर विचरण करते हुए, दिनों में जंगलों में ठहरकर रात होते ही जंगल से लगे ग्रामीण अंचलों में बसे ग्रामीणों के घरों में तोड़फोड़ कर,खेत एवं बांडियों में लगे अनाजों को अपना आहार बनाते विचरण कर रहे हैं। दोनों हाथी विगत तीन दिनों से वन परिक्षेत्र एवं तहसील राजेंद्रग्राम/पुष्पराजगढ़ के बेनीबारी बीट अंतर्गत पौनी,सलैया ग्राम पंचायत में विचरण करते हुए रात तीन ग्रामीणों नानसाय पिता मंगल बैगा,मंगल पिता लदहा बैगा,तैनी पिता लदहा बैगा सभी निवासी भालू खोदरा के मकानो में तोड़फोड़ कर खेत एवं बांडियों में लगे विभिन्न तरह के अनाजों को अपना आहार बनाते हुए, सुबह होते ही ग्राम पंचायत रौसरखार के भालूखोदरा गांव के समीप स्थित जंगल में पहुंचकर विश्राम कर रहे है। हाथियों के निरंतर विचरण करने पर वनविभाग का गश्ती दल निरंतर निगरानी बनाए रखते हुए ग्रामीणों को सजग एवं सतर्क रहने की अपील मुनादी एवं अन्य माध्यमो से की जा रही है, जिससे अब तक किसी भी तरह की जनहानि की स्थिति निर्मित नहीं हुई हैं। ग्रामीण के घरों एवं खेत बांडियो में दोनों हाथियों द्वारा किए जा रहे नुकसान पर अनूपपुर कलेक्टर हर्षल पंचोली वन मंडलाधिकारी विपिन कुमार पटेल के निर्देश पर संबंधित पटवारी एवं वनविभाग के मैदानी अमले द्वारा संयुक्त रूप से नुकसानी का सर्वेक्षण कर राहत प्रकरण तैयार किया जा रहा है, एक सप्ताह मध्य प्रभावितों के खातों में राहत राशि प्रदाय किये जाने से विगत वर्षों दौरान हाथियों के नुकसान से परेशान ग्रामीणों को इस बार समय पर राहत राशि मिलने से आक्रोश की स्थिति निर्मित नहीं हो रही है वही हाथियों की सुरक्षा को देखते हुए शासन के निर्देशानुसार हाथियों के विचरण के समय संभावित क्षेत्रों में विद्युत आपूर्ति बंद रखे जाने से हाथियों की भी सुरक्षा हो रही है।