हाथी प्रभावित क्षेत्रों का सीसीएफ ने किया भ्रमण, पश्चिम बंगाल से बुलाया गया विशेषज्ञ
*सीसीएफ व कलेक्टर के आदेश पर अधिकारी कर रहे ग्रामीणों के साथ बैठक*
अनूपपुर
छत्तीसगढ़ राज्य से विगत 15 दिनों पूर्व अनूपपुर जिले के जैतहरी एवं अनूपपुर वन परिक्षेत्र एवं थाना क्षेत्रों में दो नर हाथियों का समूह ने आज 15 वें दिन फिर से गोबरी बीट के कक्ष क्रमांक 302 के जंगल में डेरा जमाये हुए है जो विगत दो दिन पूर्व दोनों में जंगलों में ठहरने/विश्राम करने बाद देर,रात में गोबरी,नगर परिषद जैतहरी के वार्ड क्रमांक 15,13 ग्राम पंचायत छुलहा के बेलिया, ग्राम पंचायत पंगना के पगनाकछरा में विचरण करते हुए बढ़ौना खार के जंगल में ठहरे हुए हैं। गोबरी गांव में भूपेंद्र सिंह के क्रेशर,कमलेश राठौर के घर के पास से जैतहरी-राजेंद्रग्राम मुख्य मार्ग को पार करते हुए गोबरार नाला के ऊपर स्थित जंगल के गोबरी में महावीर वर्मा के खेत में बनी झोपड़ी को तहस-नहस करने बाद फिर से मुख्य मार्ग पारकर गोबरी के कक्ष क्रमांक 302 ठाकुरबाबा के पास ठहरे हुए हैं। हाथियों के निरंतर विचरण करने पर मुख्य वन संरक्षक शहडोल एलएल उईके,वन मण्डलाधिकारी अनूपपुर श्रद्धा पेन्द्रे,एसडीओ वन प्रदीपकुमार खत्री,जैतपुर एसडीओ आईएफएस गौरव जैन,अनूपपुर,जैतहरी,राजेंद्रग्राम के वन परिक्षेत्र अधिकारी के साथ जिला मुख्यालय अनूपपुर के वन्यजीव संरक्षक शशिधर अग्रवाल ने हाथी प्रभावित क्षेत्र गोवरी,ठेंगरहा,पगना,दुधमनिया,केकरपानी,गौरेला का भ्रमण किया। अनूपपुर जिले में विगत 15 दिनों से निरंतर विचरण कर रहे हैं जिससे ग्रामीणों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है जिसे देखते हुए वन विभाग द्वारा बड़े पैमाने पर हाथी प्रभावित क्षेत्रो के हाथी विशेषज्ञों को पश्चिम बंगाल एवं अन्य स्थानों से एक बड़ा दल इस स्थल पर बुलाया जा रहा है जो इन प्रवासी हाथियों को जिले से बाहर करने में मदद करेंगे।
इस दौरान अनूपपुर कलेक्टर आशीष वशिष्ठ के निर्देश पर एसडीएम जैतहरी के साथ तहसीलदार एवं मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत जैतहरी द्वारा गोवरी,पंगना, दुधमनिया,ठेगरहा,गौरेला,ठेही आदि ग्रामों में गाम पंचायतो के जनप्रतिनिधियों एवं ग्रामीणों के साथ बैठक कर हाथियों के प्रवास के दौरान उत्पन्न समस्याओं पर चर्चा की है अनूपपुर कलेक्टर के निर्देश पर हाथियों के द्वारा किए जा रहे विभिन्न प्रकार के नुकसान पर तत्काल राहत प्रकरण तैयार कर एक सप्ताह की मध्य भुगतान किए जाने हेतु प्रत्येक दिन पटवारियों के माध्यम से नुकसानी का सर्वेक्षण किया जा रहा है। दो हाथियों का यह समूह संभवत: अपने साथियों की तलाश करने के उद्देश्य से क्षेत्र में डेरा जमाए हुए हैं यह दोनों हाथी विगत 15 दिनों से उन्ही-उन्ही क्षेत्रो,मार्गो वनो में विचरण करते हुए ठहरते हैं जहां उनके तीन अन्य साथी विचरण करते तथा ठहरते रहे हैं।