रोजगार की मांग को लेकर जिला पंचायत सदस्य व ग्रामीण करेंगे जेएमएस कार्यालय का घेराव
अनूपपुर/बिजुरी
अनूपपुर जिले के कोतमा विकासखंड अंतर्गत ग्राम पंचायत ठोडहा,बसखला,बसखली ,मोहरी में स्थापित हो रही जेएमएस माइनिंग कंपनी की कोयला खदान में ग्रामीणों की भूमि अधिग्रहित किए जाने के पश्चात रोजगार दिए जाने में कंपनी प्रबंधन के द्वारा वादे से मुकर जाने के आरोप लगाते हुए जिला पंचायत सदस्य राम जी रिंकू मिश्रा सहित प्रभावित ग्राम के सरपंच ने इस मामले में 24 अगस्त को बिजुरी के कपिलधारा कॉलोनी में स्थित जेएमएस कंपनी कार्यालय का घेराव करने की चेतावनी दी है।
प्रेस वार्ता आयोजित कर जानकारी देते हुए जिला पंचायत सदस्य रामजी रिंकू मिश्रा एवं सरपंच संघ के अध्यक्ष सूरज अगरिया तथा उप सरपंच संघ के अध्यक्ष श्यामू शर्मा , जनपद सदस्य देवनाथ सिंह एवं सरपंच ठोडहा नोहर सिंह के द्वारा जानकारी देते हुए बताया गया कि कंपनी प्रबंधन के द्वारा 476 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण प्रभावित ग्रामों से किया गया है। जहां कंपनी प्रबंधन के द्वारा पर्यावरण जन सुनवाई के दौरान 1000 स्थानीय व्यक्तियों को रोजगार योग्यता के आधार पर देने का आश्वासन दिया गया था लेकिन कंपनी के द्वारा प्रभावित भूमि पर बाउंड्री वाल सहित अन्य कार्य प्रारंभ कर दिया गया है और अभी तक मात्र 30 लोगों को रोजगार प्रदान करने की बात जिला पंचायत सदस्य राम जी रिंकू मिश्रा के द्वारा बताई गई।
*रोजगार दे रहे कोलकता वासियो को*
जिला पंचायत सदस्य रामजी रिंकू मिश्रा ने जेएमएस कंपनी प्रबंधन पर आरोप लगाते हुए कहा कि कोतमा विकासखंड में कंपनी प्रारंभ हो रही है लेकिन जेएमएस प्रबंधन के द्वारा रोजगार कोलकाता सहित अन्य प्रांत के लोगों को दिया जा रहा है। उन्होंने बताया कि क्षेत्र में योग्य व्यक्तियों की कमी नहीं है हजारों की संख्या में माइनिंग का कोर्स किए हुए युवा रोजगार की राह देख रहे हैं लेकिन कंपनी प्रबंधन बाहरी लोगों को रोजगार में वरीयता दे रही है।
*बंद कराएंगे कोयला खदान*
जिला पंचायत सदस्य राम जी रिंकू मिश्रा ने कहा कि भूमिगत कोयला खदान होने की वजह से यह अंदाजा लगा पाना मुश्किल है कि कंपनी ने किस किसान की भूमि पर कोयला उत्खनन प्रारंभ कर दिया है, किसानों को यह झांसा दिया जा रहा है कि जब उनकी भूमि पर कार्य प्रारंभ किया जाएगा तभी उन्हें रोजगार मिलेगा। ऐसे में कंपनी प्रबंधन ग्रामीण को बरगलाते हुए अपना कार्य प्रारंभ कर रही है। जिस पर उन्होंने कहा कि 24 अगस्त को कंपनी कार्यालय का घेराव किए जाने के पश्चात भी अगर ग्रामीणों को रोजगार प्रदान करने में मनमानी की गई तो स्थानीय ग्रामीणों के साथ कंपनी का कार्य बंद कराया जाएगा।