हाथियों ने मचाया उत्पात गांव में तोड़े मकान, दौडाने पर जान बचाकर भागे ग्रामीण
अनूपपुर
अनूपपुर जिले मे विगत 25 दिनों से छत्तीसगढ़ राज्य की सीमा से आए पांच हाथियों का समूह निरंतर डेरा डाला हुआ है जो निरंतर रात को ग्रामीणों के घरों एवं खेतों में खाने की तलाश में तोड़फोड़ कर एवं खेत-वाड़ी में लगे फल एवं अनाजों को अपना आहार बना रहे हैं हाथियों के निरंतर विचरण से अनूपपुर एवं जैतहरी तहसील के लगभग एक दर्जन गांव विगत 20 दिनों से परेशान हैं वही अब तक सैकड़ों मकानों एवं बाड़ी-खेतों में लगी,रखे अनाज-फल को खा चुके हैं, हाथियों का समूह कई गांव में पहुंचकर उत्पात बचाते हुए कई ग्रामीणों के घरों को तोड़फोड़ किया वही खेतों में लगी धान की फसल को चढरकर एवं चलकर नष्ट करते हुए बाड़ी में लगे गन्ना,केला एवं कटहल के फलों को अपना आहार बनाया,हाथियों के निरंतर विचरण पर अनूपपुर एवं जैतहरी वन परीक्षेत्र के साथ जिले के विभिन्न वन क्षेत्रों से वन विभाग के अधिकारी-कर्मचारी एवं सुरक्षा श्रमिकों के साथ संबंधित ग्राम पंचायत के सरपंच एवं अन्य जनप्रतिनिधियों, ग्रामीणों ने हाथियों ने समूह को क्षेत्र से बाहर ले जाने का रात भर प्रयास किए जाने के बाद भी हाथियों का समूह अन्य स्थानों पर जाने को राजी नहीं लग रहे है हाथियों का समूह को रात भर भगाए भगाये जाने पर बीच-बीच में ग्रामीणों को डराने एवं अपने से दूर भगाए जाने के उद्देश्य से तेजी से आवाज कर दौड़ा रहे हैं जिससे कभी भी किसी अप्रिय घटना की संभावना निरंतर बनी रहती है शनिवार की सुबह ग्राम बांका निवासी ओमप्रकाश सिंह के कच्चे घर मे हाथियों ने कई जगह दांत गड़ा कर तोड़फोड़ करने का प्रयास किया जिसमें हाथियों का समूह असफल रहा हैं। सुबह के मध्य हाथी के वापस होने दौरान पगना गांव का एक युवक जो दिशा-मैदान के लिए बैठा रहा हाथियों की चपेट में आते आते बाल-बाल बचा शनिवार की सुबह हाथियों का दल वन परीक्षेत्र अनूपपुर के दुधमनिया बीट अंतर्गत बांका गांव के नजदीक कुदुरझोरी नाला के समीप स्थित सागौन एवं लिपटिस के प्लांटेशन के बीच डेरा जमाए हुए हैं।