ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी के विरूद्ध 63 लाख के धोखाधड़ी का मामला दर्ज

ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी के विरूद्ध 63 लाख के धोखाधड़ी का मामला दर्ज


अनूपपुर 

कृषि विभाग के पुष्पराजगढ़ कार्यालय में पदस्थ ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी सुखलाल अहिरवार द्वारा बीते 5 वर्षों में अपने ही विभाग के कर्मचारियों के स्वत्वों के भुगतान स्वयं एवं अपने रिश्‍तेदारों के नाम करने के 63 लाख से ज्यादा रुपयों की धोखाधड़ी मामले में अपराध पंजीबद्ध किया गया है। जिला कोषालय अधिकारी अनूपपुर द्वारा थाना राजेन्द्रग्राम में अपराध पंजीबद्ध कराया गया। जिला कोषालय अधिकारी बाबूलाल प्रजापति की शिकायत पर सुखलाल अहिरवार के विरुद्ध धारा 420, 409, 467, 468, 471 के तहत प्रकरण पंजीबद्ध किया गया है। जिला कोषालय अधिकारी के द्वारा दिए गए आवेदन में स्पष्ट रूप से उल्लेख किया गया है कि ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी सुखलाल अहिरवार ने अपने आहरण संवितरण अधिकारी के लॉगिन पासवर्ड का दुरुपयोग कर कार्यालय के 30 कर्मचारियों के बैंक खातों में परिवर्तन कर 63 लाख 42 हजार 87 रुपए की धोखाधड़ी की गई। पूरे मामले के संबंध में संदेह तब हुआ जब आयुक्त कोष एवं लेखा पर्यावास भवन भोपाल द्वारा वित्तीय अनियमितता के संबंध में जिला कोषालय अधिकारी को अवगत कराया गया था। कर्मचारियों के एरियर, वेतन, सेवानिवृत्त स्वत्व अन्य कार्यालयीन देयको की राशि अपने खाते में ट्रांसफर करा ली थी।

*पत्नी और रिश्तेदारों के खाते में भेजी राशि*

फर्जीवाड़े के इस खेल में ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी ने स्वयं की पत्नी और रिश्तेदारों के बैंक खातों का भी प्रयोग किया। बीते 5 वर्षों में सुखलाल अहिरवार के द्वारा अपने बैंक खाते में 36 लाख 28 हजार 545 तथा दूसरे खाते में 2 लाख 77 हजार 743 रुपए जमा कराएं, पत्नी अंजू अहिरवार के खाते में 11 लाख 96 हजार 833, रिश्तेदार दलवीर अहिरवार के खाते में 4 लाख 85 हजार, शांति अहिरवार के खाते में 5 लाख 17  हजार 250 तथा एक अन्य रिश्तेदार प्यारी लागे के खाते में दो लाख 3 हजार 295 रूपए जमा कराए गए। यह राशि कर्मचारियों के बैंक खाते में जानी थी जिसमें धोखाधड़ी की गई। सुखलाल अहिरवार के द्वारा धोखाधड़ी करने के लिए दो रास्ते अपनाए जाते थे। कम पढ़े लिखे कर्मचारियों के भुगतान को वह सीधे अपने बैंक खाते में ट्रांसफर कर देता था, वहीं जानकार कर्मचारियों के भुगतान को पहले अपने खाते में डालकर दोबारा कर्मचारियों के भुगतान के लिए नए सिरे से बिल का निर्माण कर लेता था। वर्ष 2018 -19 में इस तरह से सबसे ज्यादा बार गड़बड़ी की गई। अधिकांश मामलों में 4 लाख से ज्यादा के बिलों का दो बार भुगतान किया गया। फर्जीवाड़ा की शिकायत होने के साथ ही पुलिस के द्वारा सुखलाल अहिरवार एवं रिश्तेदारों के बैंक खातों में होल्ड करा दिया गया है। किसी भी तरह से इन रूपयो का आहरण न हो इसके लिए भी बैंक को पत्र लिखा गया है।

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