रामभरोसे मध्यान्ह भोजन, आंगनबाड़ी में नही बना खाना, भूखे पेट घर लौट रहे है बच्चे, क्या यही है विकास यात्रा?

 रामभरोसे मध्यान्ह भोजन, आंगनबाड़ी में नही बना खाना, भूखे पेट घर लौट रहे है बच्चे, क्या यही है विकास यात्रा?


अनूपपुर

बच्चो को शिक्षा से जोडऩे के लिए सरकार ने  मध्यान्ह भोजन को शामिल किया है। किन्तु यह व्यवस्था पूरी तरह चरमरा गयी है ग्रामीण क्षेत्रो के आंगनबाड़ी में कई-कई दिनों तक बच्चो को मध्यान्ह भोजन नही मिलता जिम्मेदार लोगो के ध्यान न देने के कारण स्वसहायता समूह भोजन व्यवस्था अपनी मर्जी से नियम विरुद्घ चला रहे है। जिससे शासन की जनहितकारी योजनाओं पर पानी फिर रहा है। सरकार का कहना है हमारे तरफ से मध्यान्ह भोजन की सामग्री भेजने में कोई भी लापरवाही नही बरती जा रही है तो फिर गड़बड़ी कहा से हो रही है इस मामले में सवालिया निशान लग रहा है गरीब बच्चों के मुंह से निवाला छीना जा रहा है। ऐसा क्यू हो रहा है जिम्मेदार ही बता सकते हैं जिले में सैकड़ो आंगनबाड़ी  होंगे जहाँ मध्यान्ह भोजन नही बनता होगा लेकिन फिर भी यह व्यवस्था को देखने वाला कोई नही है केवल कागजो में सारी व्यवस्था चल रही है। अभी  मध्यान्ह भोजन बच्चो को नही मिला है 


जिला अनूपपुर के ग्राम पंचायत बदरा आंगनवाड़ी केंद्र क्रमांक 22 बदरा बस्ती मैं है देखा जाता है कि यह आंगनबाड़ी जनपद के  सामने है लेकिन जनपद के भी कोई अधिकारी ध्यान नहीं दे रहे हैं कि आंगनबाड़ियों में बच्चों को सही समय पर भोजन प्राप्त होता है कि नहीं शनिवार के दिन हमारी विशेष टीम आंगनबाड़ी पहुंची वहां देखा गया कि बच्चों के लिए मध्यान भोजन बना ही नहीं है बच्चे खाली पेट अपने घर वापस चले गए हैं इस आंगनबाड़ी की भोजन की व्यवस्था नर्मदा स्व सहायता समूह के द्वारा किया जाता है विगत कई बार महिला बाल विकास को कई ग्रामों के आंगनबाड़ी के प्रति मध्यान भोजन ना बनने के संबंध में शिकायत की गई थी इसके बावजूद भी महिला बाल विकास की टीम के कर्मचारी मौन साधे रहते हैं ना कभी किसी आंगनबाड़ी का निरीक्षण करते हैं और ना कभी समूहों के प्रति कोई कार्यवाही करते हैं जिससे समूह अपने हिसाब से मध्यान भोजन का कार्य करते रहते हैं ऐसे समूहों  के ऊपर कार्यवाही होनी चाहिए  नहीं तो इनके हौसले बुलंद होते जाएंगे जिससे  इनकी भरपाई  आंगनबाड़ी के  बच्चों को  भुगतना होगा  देखा जाता है कि आंगनबाड़ी में मीनू केवल दिखावा बनकर रह गया है सूत्र बताते हैं कि समूह के द्वारा घटिया खाना बच्चो को परोसा जाता है मीनू के अनुसार कभी भी खाना नही बनता है अब देखना है कि  इस शिकायत पर जिले में बैठे महिला बाल विकास अधिकारी कोई कार्यवाही करते भी हैं कि नहीं

*इनका कहना हैं*

*जिला महिला बाल विकास अधिकारी अनूपपुर विनोद परस्ते जी से फोन से जब इस संबंध में बात करनी चाहिए तो उन्होंने फोन नहीं उठाया*

जो मध्यान भोजन बनाता है उसके यहां कुछ काम था इसलिए मध्यान भोजन नहीं बना है समूह वाले मुझे सूचित दिए थे।

*श्यामा कुशवाहा सुपरवाइजर महिला बाल विकास*

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