बिजली की अघोषित कटौती, विभाग की मनमानी लापरवाही से उपभोक्ता त्रस्त

बिजली की अघोषित कटौती, विभाग की मनमानी लापरवाही से उपभोक्ता त्रस्त


अनूपपुर/पुष्पराजगढ़

राजेन्द्रग्राम विधुत विभाग की मनमानी बगैर सूचना के बिधुत सप्लाई बंद होने के कारण आम उभोक्ताओ को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है लोगो का जन जीवन अस्त ब्यस्त हो गया है बिभाग की मनमानी हठधर्मिता के कारण अघोषित बिजली कटौती कर देते है जिसका खामियाजा आम ग्रामीणों को भुगतना पड़ता है आये दिन दो से चार घंटे कभी कभी तो दस दस घंटे तक की बिजली गुल रहती है। सबसे बुरा हाल ग्रामीण फीडर का है। बिजली गायब रहने से कई काम काज ठप पड़े हैं। ग्रामीणों के अनुसार बिजली सप्लाई बिना कोई सूचना के ही कटौती की जा रही है। बिजली की सप्लाई न मिलने से ग्रामीण वा बिजली उपभोक्ता परेशान है ।

*विभाग द्वारा रोस्टर के अनुसार नहीं की जाती बिधुत की सप्लाई*

रोस्टर के तहत विद्युत व्यवस्था उपलब्धता सुनिश्चित करना संबंधित अधिकारी की जिम्मेदारी होती है स्पस्ट निर्देश है की यदि क्षेत्र से विद्युत की शिकायते आ रही है तो उसे अनदेखा न करें त्वरित निराकरण करे यदि कहीं भी लापरवाही पाई जाती है तो संबंधित के विरुद्ध कार्रवाई होगी।

वर्तमान समय में विद्युत आपूर्ति के लिए ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों में क्या रोस्टर है यह किसी को पता नहीं है बिजली कब आएगी कब जाएगी इसके लिए निर्धारित कोई समय नहीं है बिजली अपने पुराने ढर्रे पर एक बार फिर पहुंच चुकी है।

*चचाई फाल्ट का बहाना कर घंटो रोक दी जाती है सप्लाई*

चचाई से पुष्पराजगढ़ में आ रही बिधुत सप्लाई का विगत दो वर्षों से  कोई मेंटिनेंस कार्य नही कराया गया जिसके कारण आये दिन बिधुत सप्लाई बाधित हो रही है बिभाग की लापरवाही के कारण इसका खामियाजा आम उपभोक्ताओं को उठाना पड़ रहा है पुष्पराजगढ़ मुख्यालय में विगत एक वर्ष से सहायक अभियंता का पद रिक्त है कनिष्ठ अभियंता के पद पर जब से रामकिशोर गुप्ता पदस्थ हुये है आये दिन चचाई फाल्ट का बहाना कर कई कई घंटों बिधुत सप्लाई बंद कर दी जाती है और शासकीय नंबर को स्विच ऑफ कर अपने घर पर आराम फरमा रहे होते है यहां तक की उपभोक्ताओं को कोई समुचित जानकारी भी नहीं मिल पाती है की बिजली कब आएगी। बीते एक वर्ष से बिधुत आपूर्ति ब्यवस्था पूरी तरह से चरमरा गई है।

*आजादी के 75 वर्ष बाद भी कई गांव है बिधुत बिहीन*

पुष्पराजगढ़ क्षेत्र में आज भी कई सुदूर गांव ऐसे है जो आजादी के 75 वर्ष बाद भी बिधुत विहीन है कुछ गांवो में सौभाग्य योजना के तहत विगत 3-4 वर्षे पूर्व संबंधित ठेकेदारों से कार्य कराया गया था जो उन्होंने आधे अधूरे कार्य कराकर छोड़ दिया गया जहाँ बिधुत व्यवस्था पूरी तरह से बंद पड़ी हुई है बिजली के पोल और तार तो गांव तक गये है परंतु उसमे करंट ही नहीं है इसके बाबजूद बिभाग में बैठे कर्मचारी अधिकारी भोलेभाले आदिवासी गरीब मजदूरों के नाम हर माह बिजली का बिल थमाया जा रहा है और उन्हें कर्जदार बनाकर उन्हें मानसिक रूप से परेशान किया जा रहा है।

*इनका कहना है*

विगत 3 - 4 वर्षों से लाइनों का मेंटिनेंस नहीं हो पाया है जिसके चलते आये दिन बिधुत ब्यवस्था बाधित हो रही है एवं बिभाग द्वारा नये नये संविदा कर्मी अधिकारियों की पोस्टिंग कर दी गई है जिसके कारण भी सारा सिस्टम अब्यवस्थित है 

*रामकिशोर गुप्ता कनिष्ठ अभियंता बिधुत बिभाग राजेन्द्रग्राम*

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