सिविल कार्यों में भ्रष्टाचार, कॉलोनियों में गंदगी के बीच कर्मचारी रहने को मजबूर

सिविल कार्यों में भ्रष्टाचार, कॉलोनियों में गंदगी के बीच कर्मचारी रहने को मजबूर 



अनूपपुर/कोतमा 


एसईसीएल के जमुना कोतमा क्षेत्र का सिविल विभाग अपने कारनामों के लिए पहले से चर्चित है। किन्तु नवागत क्षेत्रीय स्टाफ अधिकारी सिविल मे अग्रवाल जब पदस्थ हुए तब श्रमिकों को लगा था की शायद सिविल कार्यों में कुछ सुधार होगा, किन्तु इनके पदस्थ होते भ्र्ष्टाचार को और अधिक बढ़ावा देने के स्पष्ट संकेत मिलने शुरू हो गए हैं। पूरे क्षेत्र में झाड़ी, सूखे पत्ते और गंदगी का भरमार है। क्षेत्र के सभी इकाइयों में  गर्मी का समय है झाड़ी -पत्ते साफ करवाना चाहिए ,कभी भी आग लग सकता है। कुछ कॉलोनियों के साफ सफाई के वर्क आर्डर भी हुए किन्तु कोई काम नहीं हो रहा है।पानी की टंकिया जिन्हे छह माह में एक बार साफ होना चाहिए सालों से दुर्गन्ध मर रही हैं और उसी पानी को कर्मचारी पीने को मजबूर है। खदानों में उपलब्ध करवाए गए पानी के फ़िल्टर यंत्र आर.ओ. ख़राब पड़े है। गर्मी का समय आ गया,  क्षेत्र में पेय जल का संकट शुरू हो जायेगा। इन सब काम की पूर्व तैयारी और व्यवस्था करने की बजाय आते ही राजनीति करने लगे । आमाडांड ओसीपी खान में  लाखों रूपये मूल्य का सड़क का बिल पास करने की स्टाफ अधिकारी द्वारा प्रयास किया जा रहा है।  जबकि स्टाफ अधिकारी को स्वयं इसकी जाँच कर बिल भुगतान रोकना चाहिए ऊपर से बिल पास करवाने का दबाव अपने पद का दुरूपयोग कर किया जारहा है। क्षेत्र में कई सिविल कार्य जारी वर्क आर्डर के  तय शर्तों का उल्लंघन कर किये जा रहे हैं और स्टाफ अधिकारी धड़ल्ले से बिल पास कर रहे हैं। स्टाफ अधिकारी इस भ्रम में होंगे की क्षेत्र के कर्मचारी, संघ प्रतिनिधियों और मीडिया को कोई जानकारी नहीं होती की सिविल विभाग में क्या हो रहा है। आपके विरुद्ध मंत्रालय, कोल इण्डिया और एस ई सी एल के उच्च अधिकारियों के अतिरिक्त सी वी सी, सी बी आई और सतर्कता विभाग सभी से साक्ष्य के साथ आपके विरुद्ध शिकायत किया जावेगा। सिविल विभाग के कार्यों में व्याप्त लापरवाही और भ्र्ष्टाचार के सम्बन्ध में   श्रीकांत शुक्ला  ने बताया की प्रबंधन से बात किया है और जानकारी इकठ्ठा कर मैं खुद इसकी शिकायत सिविल विभाग और स्टाफ अधिकारी के विरुद्ध प्रत्येक अधिकारी और संस्थान से करूँगा। जिससे श्रमिकों के गाढ़े मेहनत से अर्जित धन का कंपनी और श्रमिक हित में सदुपयोग हो । उन्होंने बताया कि वर्तमान में जमुना कोतमा क्षेत्र अंतर्गत कालरी  के कालोनियों  मैं गंदगी का भरमार है साफ सफाई के नाम पर प्रतिवर्ष लाखों का टेंडर ठेकेदार को दे दिया जाता है लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और ही बयां कर रही है इस संबंध में अगर शिकायत के बाद भी कोई कार्यवाही नहीं होती है तो व्यापक आंदोलन किया जाएगा ।

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